दुनिया एक संसार है, और जब तक दुख है तब तक तकलीफ़ है।

Friday, February 5, 2010

गुरमा: कुछ तस्वीरें -२

एक अवसाद भरी यात्रा की कुछ तस्वीरें आप पहले देख चुके हैं. अब देखिये दूसरा हिस्सा।
सभी को डबल क्लिक कर के बढाया जा सकता है।


पहलवान नाऊ का लड़का सबसे बाएँ


अस्पताल


गुरमा क्लब का रुपहला पर्दा यहीं टंगा करता था


अब कैंटीन बन गया है क्लब


फैक्ट्री
































बिजली विभाग


....क्या इसी घर में रहते थे जेपी गौड़ ?...यानी जेपी सीमेंट के मालिक ?

3 comments:

VARUN said...

sarai tasweeren anginat yadon ko taja kar deti hai, kuchh mithi hain, kuchh kadawi hain.............

yeh aakhen bar bar in tasweeron me kya talash kar rahi hain.......?

dil samaj nahi pata..........

मुनीश ( munish ) said...

nostalgia! i can understand it.

कविता रावत said...

Bahut sundar tasveerin lagi...
Bahut badhai